ऑपरेशन सिंदूर: पाकिस्तान ने भारत से मांगी शांति, एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने किया बड़ा खुलासा
चिरौरी न्यूज
नई दिल्ली: भारतीय वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने शुक्रवार को एक बड़ा बयान देते हुए कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान ने ही भारत से संघर्षविराम (Ceasefire) की मांग की थी, न कि किसी बाहरी दबाव या अमेरिकी हस्तक्षेप के चलते लड़ाई रुकी थी।
यह बयान उन सभी अटकलों पर विराम लगाता है जिनमें दावा किया जा रहा था कि अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत और पाकिस्तान को युद्ध रोकने के लिए मजबूर किया था।
क्या है ऑपरेशन सिंदूर?
ऑपरेशन सिंदूर भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा मई 2025 में पाकिस्तान के खिलाफ शुरू किया गया एक तेज और सटीक सैन्य अभियान था। यह ऑपरेशन पाकिस्तानी सीमाओं के भीतर आतंकी लॉन्चपैड्स और सैन्य प्रतिष्ठानों को निशाना बनाने के लिए किया गया था।
इस ऑपरेशन की योजना भारत सरकार ने सीमापार से हो रहे आतंकवादी हमलों और जम्मू-कश्मीर में बढ़ती आतंकी गतिविधियों के जवाब में बनाई थी।
एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने स्पष्ट किया, “10 मई को संघर्षविराम की घोषणा भारत की ओर से नहीं, बल्कि पाकिस्तान के निवेदन पर हुई थी। उन्होंने हमसे सीधी बातचीत के जरिए संघर्ष रोकने की गुहार लगाई थी।”
उन्होंने कहा कि यह बेहद महत्वपूर्ण है कि जनता और अंतरराष्ट्रीय समुदाय इस बात को समझे कि भारत ने किसी दबाव में नहीं, बल्कि अपनी रणनीतिक स्थिति की मजबूती के चलते युद्धविराम स्वीकार किया।
कुछ अंतरराष्ट्रीय मीडिया रिपोर्ट्स और विश्लेषकों ने दावा किया था कि अमेरिका ने इस युद्ध में हस्तक्षेप किया था और दोनों देशों को संघर्ष रोकने के लिए मजबूर किया। लेकिन एयर चीफ मार्शल का बयान इन सभी दावों को गलत साबित करता है।
उन्होंने कहा, “कोई बाहरी दबाव या अमेरिकी हस्तक्षेप नहीं था। यह पूरी तरह पाकिस्तान की ओर से की गई शांति की अपील थी।”
भारत की रणनीतिक बढ़त
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारतीय वायुसेना और थलसेना ने संयम और सटीकता से कार्रवाई की, जिससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की छवि एक जिम्मेदार शक्ति के रूप में उभरी। ऑपरेशन ने पाकिस्तान को सैन्य, कूटनीतिक और मनोवैज्ञानिक स्तर पर दबाव में ला दिया।
एयर चीफ मार्शल एपी सिंह का यह बयान भारत की स्पष्ट और मजबूत रक्षा नीति का प्रमाण है। उन्होंने यह दिखा दिया कि भारत अब किसी भी स्थिति में अपनी संप्रभुता और नागरिकों की सुरक्षा से समझौता नहीं करेगा। ऑपरेशन सिंदूर न केवल एक सैन्य सफलता थी, बल्कि यह भारत की कूटनीतिक दृढ़ता और सामरिक श्रेष्ठता का भी प्रतीक बन गया है।