उप-राष्ट्रपति चुनाव: BJD, SAD और BRS ने मतदान से बनाई दूरी, NDA उम्मीदवार की जीत तय
चिरौरी न्यूज
नई दिल्ली: उप-राष्ट्रपति चुनाव को लेकर सोमवार को देश की राजनीति में हलचल तेज हो गई, जब तीन प्रमुख दलों, बीजू जनता दल (BJD), शिरोमणि अकाली दल (SAD) और भारत राष्ट्र समिति (BRS), ने मतदान से दूरी बनाने की घोषणा की। इन दलों ने स्पष्ट किया कि वे न तो राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) के साथ हैं और न ही विपक्षी इंडिया गठबंधन (INDI) के। हालांकि, इनकी अनुपस्थिति से चुनावी गणित पर कोई बड़ा असर नहीं पड़ने वाला है, क्योंकि एनडीए के उम्मीदवार सी. पी. राधाकृष्णन की जीत लगभग तय मानी जा रही है।
ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की अगुवाई वाली बीजेडी ने सोमवार को पार्टी की राजनीतिक मामलों की समिति की बैठक के बाद उप-राष्ट्रपति चुनाव से अलग रहने का फैसला लिया। पार्टी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद डॉ. सस्मित पात्र ने बताया कि बीजेडी की यह नीति रही है कि वह बीजेपी और कांग्रेस दोनों से समान दूरी बनाए रखे। उन्होंने कहा, “पार्टी ने उप-राष्ट्रपति चुनाव से दूर रहने का निर्णय लिया है।
बीजेडी एनडीए और इंडिया गठबंधन दोनों से समान दूरी पर है। हमारा ध्यान केवल ओडिशा की 4.5 करोड़ जनता के विकास और कल्याण पर है।” बीजेडी के पास राज्यसभा में सात सदस्य हैं, जबकि लोकसभा में 2024 के आम चुनावों में पार्टी एक भी सीट नहीं जीत पाई।
तेलंगाना की भारत राष्ट्र समिति ने भी सोमवार को ऐलान किया कि वह उप-राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा नहीं लेगी। पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष के. टी. रामाराव ने कहा कि यह निर्णय राज्य में खाद (यूरिया) की भारी कमी और किसानों की समस्याओं को देखते हुए लिया गया है। बीआरएस के पास राज्यसभा में चार सांसद हैं जबकि लोकसभा में उसका कोई प्रतिनिधित्व नहीं है।
पंजाब की शिरोमणि अकाली दल ने भी सोमवार शाम को यह साफ कर दिया कि वह चुनाव से दूर रहेगी। पार्टी के इस निर्णय के पीछे पंजाब में आई बाढ़ की तबाही को कारण बताया गया है। अकाली दल की ओर से लोकसभा में केवल एक सांसद, हरसिमरत कौर मौजूद हैं, जो पार्टी प्रमुख सुखबीर सिंह बादल की पत्नी हैं और बठिंडा से 2024 में निर्वाचित हुई हैं।
अब मुकाबला एनडीए के उम्मीदवार सी. पी. राधाकृष्णन और विपक्ष के बी. सुदर्शन रेड्डी के बीच सीधा हो गया है। उप-राष्ट्रपति चुनाव के लिए निर्वाचक मंडल में कुल 781 सदस्य शामिल हैं, जिनमें 542 लोकसभा और 239 राज्यसभा सदस्य (233 निर्वाचित और 12 मनोनीत) हैं। वर्तमान में दोनों सदनों में कुल छह सीटें रिक्त हैं। हर सदस्य का वोट समान मूल्य का होता है और चुनाव गोपनीय मतदान के माध्यम से होता है। जीत के लिए आवश्यक बहुमत 391 वोटों का है।
यह पद तब खाली हुआ जब तत्कालीन उप-राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई को मानसून सत्र के पहले दिन स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए इस्तीफा दे दिया। भले ही एनडीए को संख्या बल के आधार पर बढ़त मिलती दिख रही हो, लेकिन राजनीतिक पर्यवेक्षकों की नजर अब भी संभावित क्रॉस-वोटिंग और अंतिम परिणाम पर टिकी हुई है। चुनाव का नतीजा सोमवार शाम तक आने की उम्मीद है।