ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान ने भारत से मांगी थी सीज़फायर की गुहार: इशाक डार का बड़ा खुलासा

After Operation Sindoor, Pakistan had requested India for ceasefire: Big revelation by Ishaq Darचिरौरी न्यूज

नई दिल्ली: पाकिस्तान के उपप्रधानमंत्री इशाक डार ने एक बड़े खुलासे में कहा है कि भारत द्वारा ऑपरेशन सिंदूर के तहत रावलपिंडी और पंजाब प्रांत में स्थित दो प्रमुख वायुसेना अड्डों पर हमले के बाद पाकिस्तान को सीज़फायर की अपील करनी पड़ी। उन्होंने बताया कि भारत की इस कार्रवाई के बाद पाकिस्तान ने अमेरिका और सऊदी अरब से मदद की गुहार लगाई।

डार ने एक टेलीविजन चैनल पर बातचीत में बताया कि भारत ने रावलपिंडी स्थित नूर खान एयरबेस और पंजाब के शोरकोट स्थित पीएएफ बेस रफीक़ी पर मिसाइल हमले किए थे। उन्होंने कहा, “रात 2:30 बजे भारत ने एक बार फिर मिसाइल हमले शुरू किए। उन्होंने नूर खान और शोरकोट एयरबेस को निशाना बनाया। इसके 45 मिनट बाद सऊदी अरब के प्रिंस फैसल का कॉल आया। उन्होंने पूछा कि क्या वे भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर से बात कर सकते हैं और भारत को संदेश दे सकते हैं कि अगर वे रुकते हैं तो हम भी तैयार हैं। मैंने कहा, हां भाई, आप बात कर सकते हैं। बाद में उन्होंने बताया कि उन्होंने यह संदेश जयशंकर तक पहुंचा दिया है।”

ऑपरेशन सिंदूर: पुलवामा की तर्ज पर जवाबी कार्रवाई

भारत ने यह ऑपरेशन 7 और 8 मई की दरम्यानी रात को पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में शुरू किया था, जिसमें 22 अप्रैल को 26 पर्यटकों की जान चली गई थी। ऑपरेशन के दौरान भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित 9 आतंकी ठिकानों को निशाना बनाकर तबाह कर दिया।

इस कार्रवाई के बाद दोनों देशों के बीच तनाव चरम पर पहुंच गया और पाकिस्तान की ओर से भी जवाबी हमले किए गए, जिनका भारत ने कड़ा प्रतिरोध किया।

अमेरिकी दबाव में पाकिस्तान ने की सैन्य हॉटलाइन एक्टिवेट

सूत्रों के मुताबिक, अमेरिका पहले से दोनों देशों के संपर्क में था और बढ़ते तनाव को देखते हुए पाकिस्तान पर दबाव बनाया कि वह सीधे भारतीय सेना से संपर्क करे और हालात को बिगड़ने से रोके। अमेरिका ने कथित तौर पर पाकिस्तान को सख्त संदेश दिया कि वह बिना देरी के सैन्य हॉटलाइन का इस्तेमाल करे।

इसके बाद 10 मई को दोपहर 3:35 बजे, पाकिस्तान के डीजीएमओ मेजर जनरल काशिफ अब्दुल्ला ने भारत के लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई को कॉल कर युद्धविराम की बात की। इसकी पुष्टि भारत के विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने की।

दोनों पक्षों ने 10 मई शाम 5 बजे से जमीन, हवा और समुद्र में सभी प्रकार की सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमति जताई। हालांकि, पाकिस्तान ने घोषणा के कुछ घंटों बाद ही युद्धविराम का उल्लंघन कर दिया।

नूर खान और रफीक़ी एयरबेस पर हमलों की पुष्टि

नूर खान एयरबेस पाकिस्तान की सबसे संवेदनशील सैन्य ठिकानों में से एक है, जो रावलपिंडी और इस्लामाबाद के बीच स्थित है। इस बेस पर वीआईपी परिवहन और वायुसेना के कई महत्वपूर्ण संचालन होते हैं। सोशल मीडिया पर सामने आए वीडियो में बड़े धमाके और आग लगने की तस्वीरें देखी गईं।

उधर, शोरकोट स्थित रफीक़ी एयरबेस पाकिस्तान के प्रमुख फाइटर बेसों में शामिल है, जहां JF-17, मिराज-5 और अलौएट III हेलिकॉप्टर तैनात हैं।

AWACS विमान भी हुआ था नष्ट

इससे पहले पाकिस्तान के सेवानिवृत्त एयर मार्शल मसूद अख्तर ने यह स्वीकार किया था कि भारत के हमले में AWACS (एयरबोर्न वॉर्निंग एंड कंट्रोल सिस्टम) विमान को भी नुकसान पहुंचा था। यह विमान इस्लामाबाद के भोलेरी एयरबेस पर भारत के सटीक मिसाइल हमले में नष्ट हुआ था।

ऑपरेशन सिंदूर न सिर्फ पाकिस्तान के आतंकी ढांचे पर करारा प्रहार था, बल्कि यह भारत की सैन्य तैयारियों और जवाबी रणनीति का स्पष्ट संकेत भी था। पाकिस्तान के उपप्रधानमंत्री द्वारा सार्वजनिक मंच पर युद्धविराम की अपील की स्वीकारोक्ति ने इस ऑपरेशन की प्रभावशीलता और कूटनीतिक जीत को और भी मजबूती से रेखांकित कर दिया है।

 

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