वित्तमंत्री सीतारमण ने प्रधानमंत्री के “डिजिटल रूप से सशक्त भारत” के विजन को पूरा करने के लिए दो मोबाइल ऐप किया लॉन्च

चिरौरी न्यूज़

नई दिल्ली: केंद्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट कार्य मंत्री श्रीमती सीतारमण ने आज यहां कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय की दो टेक-इनेबल्ड पहलों- सेंट्रल स्क्रूटनी सेंटर (सीएससी) और इन्वेस्टर एजुकेशन एंड प्रोटेक्शन फंड अथॉरिटी (आईईपीएफए) मोबाइल ऐप को वर्चुअल रूप से लॉन्च किया। ये पहलें प्रधानमंत्री के “डिजिटल रूप से सशक्त भारत” के विजन को सुदृढ़ बनाने में योगदान देंगी। कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय के सचिव श्री राजेश वर्मा तथा अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने वर्चुअल लॉन्च समारोह में भाग लिय़ा।

नई पहलों के लॉन्च की घोषणा करते हुए श्रीमती सीतारमण ने कहा “डिजिटल भारत प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में देश को डिजिटल रूप से सशक्त बनाने के द्वारा यह सुनिश्चित करने के लिए कि सरकार की सेवाएं इलेक्ट्रॉनिक तरीके से उपलब्ध हों, भारत सरकार द्वारा आरंभ किया गया एक अभियान है। ये दो पहलें एक नए कॉरपोरेट तथा निवेशक अनुकूल प्रणाली का निर्माण करेंगी। कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय भविष्य में व्यवसाय करने की सुगमता तथा लोगों के लिए जीवन की सरलता के लिए और अधिक प्रौद्योगिकी सक्षम सेवाएं प्रस्तुत करेंगी।”

वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय समाज, कंपनियों, अर्थव्यवस्था और प्रोफेशनलों के हित के लिए डिजिटाइजेशन, ऑटोमेशन एवं सुधार की निरंतर यात्रा से जुड़ा है।

श्रीमती सीतारमण ने यह भी कहा कि भारत में व्यवसाय करने की सुगमता को बढ़ावा देने के लिए पिछले दो वर्षों में कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय ने कई कदम उठाए हैं। कोविड-19 महामारी के दौरान भी भारत में कंपनियों के समावेशन की संख्या में वृद्धि हुई है, जो कंपनियों के समावेशन के लिए समेकित रूप स्पाइस + एंड एजाइल प्रो को लागू करने जैसी पहलों का परिणाम है, जिसने भारत में व्यवसाय निकाय की स्थापना करने के इच्छुक प्रमोटरों को वन स्टाप सोल्यूशन उपलब्ध कराया है।

श्रीमती सीतारमण ने कहा कि इस वर्ष फरवरी 2021 तक लगभग 1.38 लाख कंपनियों का समावेशन हो चुका है, जो पिछले वर्ष की समान अवधि से 17 प्रतिशत अधिक है जब सेंट्रल रजिस्ट्रेशन सेंटर द्वारा लगभग 1.16 लाख कंपनियों का समावेशन किया गया था।

वित्त मंत्री ने कहा कि सेंट्रल स्क्रूटनी सेंटर एमसीए21 रजिस्ट्री पर कंपनियों द्वारा फाइल किए गए स्ट्रेट थ्रू प्रोसेस (एसटीपी) फॉर्म्स की स्क्रूटनी करेगा तथा और अधिक स्क्रूटनी के लिए कंपनियों को प्रोत्साहित करेगा।

श्रीमती सीतारमण ने कहा कि कॉरपोरेट डाटा का प्रमुख प्राथमिक स्रोत होने के कारण एमसीए को यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि डाटा गुणवत्ता से कोई समझौता नहीं किया जाए तथा यह त्रुटियों से मुक्त हो। इस उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय ने एक सेंट्रल स्क्रूटनी की स्थापना की है, जो स्ट्रेट थ्रू प्रोसेस के तहत उपयोगकर्ताओं द्वारा की गई फाइलिंग की प्राथमिक रूप से स्क्रूटनी करेगा, डाटा गुणवत्ता मुद्दों तथा अनियमितताओं की पहचान करेगा, संबंधित रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज को इसकी जानकारी देगा, जिससे कि डाटा की प्रमाणिकता और शुद्धता बहाल की जा सके तथा आवश्यकता पड़ने पर इसे अऩ्य रेगुलेटरों के साथ साझा किया जा सकता है।

वित्त मंत्री ने आईईपीएफए मोबाइल ऐप भी लॉन्च किया। लॉन्च के दौरान वित्त मंत्री ने कहा, “इस मोबाइल ऐप का लक्ष्य ग्रामीण एवं शहरी दोनों क्षेत्रों में निवेशकों के बीच  वित्तीय साक्षरता अर्जित करना, निवेशक जागरूकता में वृद्धि करना, शिक्षा, सुरक्षा बढ़ाना है।”

वित्त मंत्री ने कहा कि कॉरपोरेट अनुपालन तथा रेगुलेटरी तंत्र की गतिशील प्रकृति पर विचार करते हुए, एमसीए हितधारकों की आवश्यकताओं को पूरा करने तथा भारत में ईओडीबी को बढ़ावा देने के लिए सैंपलिंग मैकेनिज्म, प्रोसेस वर्क फ्लो तथा टेक्नोलॉजी को अपग्रेड करना जारी रखेगा।

आईपीएफए ऐप में आईईपीएफ क्लेम रिफंड प्रोसेस की स्थिति तथा प्रगति को ट्रेक करने की सुविधा होगी। इसके अतिरिक्त यह संदिग्ध धोखाधड़ी वाली स्कीमों पर रिपोर्ट करने के लिए निवेशकों एवं आम नागरिकों को एक तंत्र भी उपलब्ध कराता है। वर्तमान में यह ऐप एंड्रॉयड आधारित डिवाइस पर उपलब्ध है तथा इसे प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है।

 

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